vrijdag 8 oktober 2010

अयोध्या मसले के समाधान का प्लेटफार्म तैयार

अयोध्या मसले के समाधान का प्लेटफार्म तैयार
Oct 08, 10:09
अयोध्या हाईकोर्ट के फैसले के आधार पर बातचीत से अयोध्या विवाद का समाधान खोजने की कवायद शुक्रवार को एक महत्वपूर्ण मुकाम पर पहुंचती दिखी। अखाड़ा परिषद अध्यक्ष महंत ज्ञानदास के तैयार किए गए इस 'प्लेटफार्म' पर शुक्रवार को बाबरी मस्जिद के मुद्दई हाशिम अंसारी व निर्मोही अखाड़ा के प्रतिनिधि पुजारी रामदास ने न केवल एक-दूसरे का स्वागत किया बल्कि गले भी मिले।

हनुमानगढ़ी से आगे बढ़ी समाधान की इस 'ट्रेन' में रामजन्मभूमि न्यास व मंदिर निर्माण उच्चाधिकार समिति के सदस्य डॉ. राम विलास दास वेदाती भी 'सवार' रहे। इस अवसर पर वार्ता से मंदिर-मस्जिद निर्माण का संकल्प दोहराया गया। साथ ही यह भी तय किया गया कि मंदिर निर्माण में मुस्लिम तथा मस्जिद निर्माण में हिंदू कारसेवा कर सौहार्द की मिसाल पेश करेंगे।

महंत ज्ञानदास ने कहा कि निर्मोही अखाड़ा के सरपंच महंत भास्कर दास व बाबरी मस्जिद के मुद्दई हाशिम अंसारी इस विवाद से संबंधित कानूनी लड़ाई लड़ते हुए करीब 90 वर्ष के हो चुके हैं। दोनों की इच्छा है विवाद का समाधान अयोध्या में ही कर लिया जाए। दोनों पक्षों की इच्छा को देखते हुए समझौते का फार्मूला तैयार किया जा रहा है। दोनों समुदायों के धर्मगुरुओं की रजामंदी के बाद इस फार्मूले को सार्वजनिक किया जाएगा। इसके लिए अयोध्या में दोनों पक्षों के धर्मगुरुओं की बैठक होगी।

महंत भास्कर दास के प्रतिनिधि पुजारी रामदास ने कहा महंत ज्ञानदास व हाशिम अंसारी का प्रयास बेहद सराहनीय है। निर्मोही अखाड़ा इसका स्वागत करता है। उन्होंने कहा कि हमारे बीच की दूरियां अब पूरी तरह खत्म हो चुकी हैं। इस मसले को यहीं हल कर लेंगे। हाशिम अंसारी ने कहा कि मंदिर भी बनेगा और मस्जिद भी। हमारी कोशिश को दुनिया तो सराहेगी पर कट्टरपंथी ताकतें इस समाधान की कोशिश को तोड़ने की साजिश रच रही हैं। इस कारण सावधानी बरतते हुए 'समाधान की मिठाई' बनने तक फार्मूले को उजागर नहीं किया जाएगा।

रामजन्मभूमि न्यास के सदस्य एवं पूर्व सांसद डॉ. राम विलास दास वेदांती ने कहा वह पहली बार हाशिम अंसारी से मिले। डॉ. वेदांती ने कहा कि बातचीत से अयोध्या विवाद का समाधान समय की मांग है। इस निमित्त चल रहे प्रयासों में वह न्यास अध्यक्ष महंत नृत्यगोपाल दास के प्रतिनिधि के रूप में शामिल हुए हैं।

हाशिम के खिलाफ बंटा पर्चा

अयोध्या। बातचीत से अयोध्या विवाद के समाधान में जुटे बाबरी मस्जिद के मुद्दई हाशिम अंसारी के खिलाफ शुक्रवार को एक पर्चा बंटवाया गया। उर्दू में छपे इस पर्चे में मुस्लिम समुदाय से विवाद पर सुन्नी सेंट्रल वक्फ बोर्ड के साथ खड़ा होने की अपील की गई है।

अयोध्या मामला: मजिस्ट्रेट विष्णु प्रसाद अग्रवाल करेंगे सुनवाई

रायबरेली। नोटीफिकेशन के इंतजार में लटका अयोध्या मामला एक बार फिर आगे बढ़ने के लिए तैयार हो गया है। उच्च न्यायालय ने अपर मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट तृतीय विष्णु प्रसाद अग्रवाल को विशेष न्यायिक मजिस्ट्रेट बनाया गया है। अब अग्रवाल की अदालत में शासन बनाम लालकृष्ण आडवाणी आदि के मामले की सुनवाई आगमी तिथि 26 अक्टूबर से होगी। अग्रवाल मामले की सुनवाई करने वाले नौवें मजिस्ट्रेट होंगे।

ज्ञात हो कि मामले की सुनवाई कर रहे विशेष न्यायिक मजिस्ट्रेट का स्थानांतरण हो जाने के कारण सुनवाई नहीं हो रही थी, क्योंकि उच्च न्यायलय इस मामले की सुनवाई के लिए विशेष न्यायिक मजिस्ट्रेट की नियुक्त करता है। इसके लिए उच्च न्यायालय दीवानी न्यायालय में तैनात मजिस्ट्रेटों में से किसी को नोटीफिकेशन जारी कर मामले की सुनवाई के लिए अधिकृत करता है। जून माह से नोटीफिकेशन के इंतजार में मामले की सुनवाई अधर में लटकी हुई थी, जबकि इस दौरान आठ जून, बारह जुलाई, छह अगस्त, चौदह सितंबर व पांच अक्टूबर की तिथि लग चुकी है। पांच अक्टूबर को प्रभारी मजिस्ट्रेट ने मामले की सुनवाई के लिए 26 अक्टूबर की तिथि नियत कर दी थी। अब विशेष न्यायिक मजिस्ट्रेट की नियुक्त के बाद सुनवाई पर छाये बादल छंट गये। छब्बीस अक्टूबर को मामले की नौंवी गवाह वरिष्ठ आईपीएस अंजू गुप्ता की गवाही फिर शुरू हो जाएगी। अट्ठारह सालों में अग्रवाल नौवें विशेष न्यायिक मजिस्ट्रेट के रूप में सुनवाई करेंगे। इससे पूर्व न्यायिक मजिस्ट्रेट अमिताभ सहाय, विनोद सिंह, एजाज अहमद, आरएमएन मिश्र, आरपी श्रीवास्तव, रईस अहमद, वंशराज व गुलाब सिंह कर चुके हैं।

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